राष्ट्रीय शाह समाज फाउंडेशन के अध्यक्ष शाहबानो की मांग
राष्ट्रीय शाह समाज फाउंडेशन के अध्यक्ष शाहबानो की मांग
सहारा सन्देश टाइम्स
*फकीर समाज की पांच मांगों को लेकर मौजूदा सरकार को 15 दिन का समय दिया, मूल जाति के साथ प्रत्येक राज्यों में उपनाम शाह, साई, अल्वी, दीवान, मदारी, दरवेश जुड़वाने सहित अनुपात के आधार पर समाज को प्रतिनिधित्व देने की मांग की*
फकीर समाज ने यूपी की राजधानी लखनऊ में “फकीर आक्रोश महापंचायत” की घोषणा की। महापंचायत में फकीर समाज मौजूदा केंद्र और राज्य सरकारों को 15 दिन का समय देंगी. समाज के प्रबुद्धजनों ने आज प्रेस कांफ्रेंस कर पांच मांगों को जल्द से जल्द पूरा करने की मांग की। इनमें
<span;>* फकीर समाज को आर्थिक आधार पर 14 प्रतिशत आरक्षण देने या पूरा आरक्षण हटाने की मांग,
<span;>* फकीर मूल जाति के साथ प्रत्येक राज्यों में उपनाम शाह, साई, अल्वी, दीवान, मदारी, दरवेश जुड़वाने सहित अनुपात के आधार पर समाज को प्रतिनिधित्व देने की मांग
<span;>* शिया, सुन्नी वक्फ बोर्ड की भाँति अलग से सूफीशाह-मलंग (फकीर) औकाफ वक्फ बोर्ड बनाने की मांग
<span;>* 200 करोड़ के बजट वाले अलग से मुस्लिम घुमंतू जाति आयोग का गठन करने व स्वतंत्रता संग्राम सेनानी बाबा मजनूं शाह मलंग, अहमदउल्ला शाह फैजाबादी का स्टैचु बनाने की मांग
<span;>* दरगाह, खानकाह, तकिया, चिल्ला, मजार, कब्रिस्तान माफी की जमीन पर अधिकार देने की मांग शामिल है.
इन मांगों को पूरे देश मे केंद्र व राज्य सरकारों के राष्ट्रीय व प्रदेश नेतृत्व तक पहुंचाएंगे। मांगों को शामिल नहीं करने पर प्रत्येक राज्यों में सत्ताधारी दलों को चुनावों में सबक सिखाने की चेतावनी दी। चुनावों में अपने समाज से निर्दलीय उम्मीदवार उतारने व नोटा का उपयोग करने की भी बात कही गई है। इसके लिए 15 दिन बाद लखनऊ में फकीर समाज का एक बड़ा महापंचायत करने की रणनीति का खुलासा करेंगे। प्रेस कांफ्रेंस में मौजूद राष्ट्रीय अध्यक्ष एडवोकेट चांदनी शाहबानो राष्ट्रीय शाह समाज फाउंडेशन इन्डिया ने महापंचायत की जानकारी देते हुए कहा कि प्रतिभाओं को आगे लाने के लिए प्लेटफाॅर्म तैयार करेंगे,राजनीतिक ताकत बनेंगे समाज की राजनीतिक में सक्रिय भागीदारी का निर्णय लिया जाएगा। पूरे देश में समाज के प्रभाव वाली सैकड़ों सीटों पर समाज के निर्दलीय उम्मीदवार खड़े करने से गुरेज नहीं करने का कड़ा निर्णय लिया जाएगा। वक्ताओं ने कहा कि समाज के हक के लिए पैरवी नहीं करने वाले समाज के जनप्रतिनिधियों का हर स्तर पर विरोध किया जाएगा. महापंचायत में फिरकापरस्ती काे भूलकर एक होने की अपील किया जाएगा। अपने ही समाज में रोटी व बेटी का संबंध बनाने की जरूरत को जागरूक किया जाएगा।
शाह बानो ने फकीर समाज से अपील की है कि अपने वोट की ताकत से पार्टियों को डराओ, तभी देंगे हक. फकीरों की पुश्तैनी धरोहर व निजी संपत्तिया पर संविधान से मिला मूल अधिकार छीनकर कट्टरपंथीयों ने विदेशी बना दिया है. उन्होंने कहा कि राजनीतिक पार्टियों की जान वोट में है। उसकी ताकत से इनको डराना होगा तभी ये समाज को उसका हक देंगे।
Post Comment